मुख्यमंत्री श्री जयराम ठाकुर जी के नेतृत्व में हिमाचल सरकार ने युवाओं के लिए एक नई योजना शुरू की है जिसे “मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना” कहते हैं। यह योजना 18 से 45 साल के उन युवाओं के लिए है जो अपना खुद का उद्योग, सेवा क्षेत्र, या व्यापार शुरू करना चाहते हैं।
इस योजना के तहत, सरकार ने उपयुक्त सब्सिडी (आर्थिक सहायता) का प्रावधान किया है। वित्तीय बजट 2018-19 में इसे शामिल किया गया था और इसके लिए करोड़ों रुपए का बजट भी रखा गया है। इस योजना के तहत, आप 60 लाख रुपए तक के प्रोजेक्ट स्थापित कर सकते हैं।
इसका मतलब यह है कि अब राज्य के युवा केवल नौकरी के लिए नहीं खोजेंगे, बल्कि दूसरों को रोजगार देने में भी सक्षम होंगे।
मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना Contents
मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना कब शुरू की गई थी
मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना की पहली घोषणा 25 मई 2018 को हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने की थी। इसके बाद, हिमाचल प्रदेश की कैबिनेट ने भी कहा कि योजना का क्रियान्वयन जल्द से जल्द शुरू किया जाएगा।
मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना लाभ
कई बार युवाओं को उनकी योग्यता के अनुसार रोजगार नहीं मिल पाता है, या मौके बहुत कम होते हैं। लेकिन अगर वे स्वरोजगार पर ध्यान दें, तो नौकरी छूटने की समस्या काफी हद तक कम हो सकती है। इस योजना से राज्य के युवाओं को अपना व्यवसाय शुरू करने में बहुत मदद मिलेगी, जिससे वे आत्मनिर्भर बन सकते हैं और अपने लिए स्थायी रोजगार का साधन बना सकते हैं।
मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना की विशेषताएं
- युवाओं को प्रोत्साहित करना: इस योजना का मुख्य उद्देश्य युवाओं को स्वरोजगार के लिए प्रेरित करना है, ताकि वे अपना खुद का व्यवसाय शुरू करने में रुचि लें और आत्मनिर्भर बन सकें।
- नौकरी की कमी को दूर करना: योजना के लागू होने से राज्य में नौकरी की कमी की समस्या को कम किया जा सकेगा। युवा नौकरी की तलाश में भटकने के बजाय अपना खुद का व्यवसाय शुरू कर सकेंगे, जिससे वे खुद नियोक्ता बनकर दूसरों को रोजगार दे सकेंगे।
- सरकारी जमीन किराये पर: अगर कोई व्यक्ति स्वरोजगार के लिए जमीन चाहता है, तो वह सरकार से मदद ले सकता है। यदि सरकार से मंजूरी मिल जाती है, तो राज्य सरकार सरकारी जमीन की वास्तविक दर का केवल 1% किराया ही लेगी।
- स्टाम्प ड्यूटी में कमी: युवाओं को स्वरोजगार के लिए प्रोत्साहित करने के लिए सरकार स्टाम्प ड्यूटी में भी छूट दे रही है। यदि कोई जमीन खरीदना चाहता है, तो उसे 6% की जगह सिर्फ 3% स्टाम्प ड्यूटी देनी होगी। इससे युवाओं को व्यवसाय स्थापित करने में आर्थिक राहत मिलेगी।
पात्रता मापदंड
हिमाचल प्रदेश का कोई भी मूल निवासी, जिसकी उम्र 18 से 35 साल के बीच हो, इस योजना के लिए आवेदन कर सकता है।
मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना की सब्सिडी मानदंड
- पुरुष निवेशकों के लिए सब्सिडी:
अगर कोई पुरुष उद्यमी 40 लाख रुपए तक का निवेश करके अपना व्यवसाय शुरू करना चाहता है, तो सरकार उसे मशीनरी की लागत पर 25% तक की सब्सिडी देगी। - महिला निवेशकों के लिए सब्सिडी:
अगर कोई महिला उद्यमी 40 लाख रुपए या उससे अधिक का निवेश करके व्यवसाय शुरू करना चाहती है, तो उसे मशीनरी की लागत पर 30% तक की सब्सिडी मिलेगी। - ऋण पर ब्याज सब्सिडी:
जो उम्मीदवार अपना व्यवसाय स्थापित करने के लिए 40 लाख रुपए तक का लोन लेते हैं, उन्हें 5 साल तक लोन के ब्याज पर 5% की सब्सिडी मिलेगी। - योजना के लिए आवेदन कैसे करें:
यह योजना नई है, और राज्य सरकार ने अभी इसकी सिर्फ घोषणा की है। जल्द ही इससे जुड़ी सभी जानकारियाँ जारी की जाएंगी। इच्छुक उम्मीदवार हिमाचल प्रदेश के आधिकारिक पोर्टल के जरिए आवेदन कर सकते हैं, या राज्य सरकार जल्द ही इस योजना के लिए एक अलग वेबसाइट भी लॉन्च करेगी। - योजना के लिए बजट:
हिमाचल प्रदेश सरकार ने इस योजना के तहत युवाओं को नए अवसर और रोजगार देने के लिए 80 करोड़ रुपए का बजट आवंटित किया है। अगर जरूरत पड़ी, तो इस राशि को और बढ़ाया भी जा सकता है।
मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना में उद्योग स्थापित करने के लिए कितने % तक सब्सिडी मिल रही है ?
मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना के तहत उद्योग स्थापित करने के लिए 25% से 35% तक की सब्सिडी मिलती है। अगर आप 40 लाख रुपए तक के प्लांट, मशीनरी या उपकरण खरीदते हैं, तो विधवाओं को 35% सब्सिडी मिलेगी, महिलाओं को 30% और अन्य लोगों को 25% सब्सिडी मिलेगी।
इसके अलावा, अगर आप 40 लाख रुपए का ऋण लेते हैं, तो आपको 3 साल तक ब्याज में 5% की छूट भी मिलेगी। साथ ही, औद्योगिक क्षेत्रों में जमीन भी सस्ती दरों पर उपलब्ध कराई जाएगी, ताकि आप अपने उद्योग को आसानी से शुरू कर सकें।
आवेदन किस वेबसाइट पर करें?
मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना और औद्योगिक निवेश नीति-2019 का लाभ उठाने के लिए आपको emerginghimachal.hp.gov.in वेबसाइट पर लॉगिन करना होगा। यदि आपको योजना से संबंधित अधिक जानकारी चाहिए, तो आप अपने जिले के महाप्रबंधक, जिला उद्योग केंद्र से संपर्क कर सकते हैं या mmsyhp2018@gmail.com पर ईमेल भेज सकते हैं।